प्राची द्वारा लिखित, 19 साल की छात्रा

विश्व महाशक्ति अमेरिका में अभी कुछ दिनों पहले 46 वें  राष्ट्रपति पद के लिए चुनाव हुए। इस चुनाव में डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्मीदवार जो बाइडेन और रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रम्प एक-दूसरे के खिलाफ चुनाव लड़ रहे थे। एक तरफ डोनाल्ड ट्रम्प थे, जो दूसरी बार राष्ट्रपति पद का चुनाव लड़ रहे थे, तो दूसरी ओर जो बाइडेन, जो बराक ओबामा के समय में उपराष्ट्रपति रह चुके थे।

डेमोक्रेटिक पार्टी आधुनिक उदारवाद का साथ देती है, सस्ती शिक्षा, सार्वभौमिक स्वास्थ्य सुविधाएँ, श्रमिक संघो और पर्यावरणीय नीतियों में विश्वास रखते हैं। रिपब्लिकन पार्टी अमेरिका रुढिवादी को बढ़ावा देती है। जिसमें सरकार के दायरें को सीमित करना व हथियारों के विनिमय को मंजूरी देना आदि शामिल है।

डेमोक्रेटिक पार्टी ने उपराष्ट्रपति पद के लिए अमेरिकी भारतीय मूल की महिला कमला हैरिस का चयन किया । कमला हैरिस की माता भारतीय मूल की हैं और उनके पिता जमैकियन मूल के हैं। डेमोक्रेटिक पार्टी ने कमला हैरिस को इसलिए चुना क्योंकि उनको चुनने से उन्हें अश्वेत और भारतीय मूल के ज्यादा से ज्यादा वोट मिलने की संभावनाएँ थीं। अमेरिका के लोग राष्ट्रपति ट्रम्प की नीतियों और उनके समस्याओं को सुलझाने के तरीकों से खुश नहीं थे। उनका पैरिस समझौते से पीछे हटना, अफगानिस्तान से सेना को वापिस बुलाना और कोरोना जैसी महामारी को बहुत लापरवाही से लेना, जिसके कारण लाखों अमेरिकी लोगों को अपनी जान गवानी पड़ी है और अश्वेतों के प्रति उनके वयवहार से लोग उनसे बहुत नाराज़ थे।

जो बाइडेन के राष्ट्रपति और  कमला हैरिस  के उपराष्ट्रपति बनने से अमेरिका व पूरे विश्व में कई बदलाव आएंगे।

जो बदलाव आएंगे वो निम्न है:

  1. चुनाव के दौरान जो बाइडेन ने कहा था कि उनकी पहली प्राथमिकता होगी कोरोना महामारी का हल ढूंढना और अमेरिकी राजनीति में जो दरार आई है, उसे भरना।
  2. जो बाइडेन ने अमेरिका में शरणार्थियों की संख्या 1.25 लाख करने की घोषणा मई में की थी। और मुस्लिमबहुल दशों के खिलाफ इमिग्रेशन संबंधी लगाए गए प्रतिबंध को हटाने का भी एलान किया था।
  3. जो बाइडेन की विदेश नीति बहुत अलग है। उनकी पहली प्राथमिकता अमेरिका में निवेश बढाने की होगी और इसी के माध्यम से अमेरिका की सुरक्षा व संपन्नता को भी मदद मिलेगी।
  4. कमला हैरिस ने भारत सरकार के नागरिकता संशोधन कानून (CAA) का विरोध किया था। परन्तु बाइडेन ने कहा था कि वे भारत के साथ अच्छे सम्बंध स्थापित करेंगें और भारतीय मुद्दों को सुलझाने का प्रयास करेंगे।
  5. बाइडेन ने आतंकवाद के खिलाफ जीरो टोलरेंस की नीति अपनाने का फैसला किया है, और सीमा के आतंकवाद पर भी अंकुश लगाने की नीति होगी।
  6. जो बाडेन ने पर्यावरण व जलवायु परिवर्तन के मुद्दों पर अहम जोर दिया है। उन्होंने अमेरिका के पैरिस समझौते में दोबारा शामिल होने और ग्रीन क्लाइमेट फंड बनाने की घोषणा की है।
  7. बाइडेन ने कहा है कि अमेरिका दोबारा विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) में शामिल होगा। और संस्था को दी जाने वाली आर्थिक मदद को फिर से दिया जाएगा।

अमेरिका के नए राष्ट्रपति आने से पूरा विश्व प्रभावित होगा और अमेरिका की विदेश नीति में नए बदलाव आएगें। अमेरिकी नागरिकों को जो बाइडेन से उम्मीद है कि उनके नेतृत्व में अमेरिका नई उचाईयों को छुऐगा।

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